लखनऊ। तकनीकी युग में मशीनें इंसान के सहयोग में किस हद तक सफल हो रही हैं, इसका ताजा उदाहरण एक रोबोट है, जो शारीरिक रूप से अशक्त लोगों का भोजन बनाने में सहयोग कर सकता है। इस रोबोट को ब्रिस्टल विश्वविद्यालय और यूनिवर्सिटी ऑफ वेस्ट इंग्लैंड के रोबोटिक्स के विशेषज्ञ प्रंकित गुप्ता ने विकसित किया है।
इन्स्टीट्यूट ऑफ प्रोफेशनल स्टडीज और एक्सीलिया स्कूल की ओर से शनिवार को आयोजित वर्चुअल सेमिनानर में प्रंकित गुप्ता ने इस रोबोट के बारे में जानकारी दी। उन्होने बताया कि यह रोबोट व्यक्ति के अकेले होने पर घरेलू काम मे उनकी मदद करता है। उन्होंने मशीन लर्निंग और डेटा साइंस पर यूनिवर्सिटी ऑफ वेस्ट इंग्लैंड में अपने शोध के दौरान यह तकनीक विकसित की है।
संगीता सिंह के संयोजन में चले सेमिनार मे प्रंकित गुप्ता ने बताया की उन्होने प्रो. प्रमिंडा कालेब-सोली के दिशा निर्देशन में मशीन लर्निंग और डेटा साइंस तकनीक विकसित की, उसके तहत घर को विभिन्न प्रकार के सेंसर के साथ “इंटरनेट ऑफ थिंग्स” के रूप में एकीकृत किया जाता है. ऐसी सहायक रोबोटिक्स तकनीक का लक्ष्य अंततः कमजोरियों वाले लोगों को खाना पकाने जैसी घरेलू गतिविधियों को स्वतंत्र रूप से करने में सक्षम बनाना है। प्रंकित लखनऊ के लामार्टिनियर कॉलेज और सिटी मांटेसरी स्कूल के छात्र रहे हैं।
सेमिनार में भाग लेने वाले शिवार्थ सिंह, आराध्या, कुशल, मानसीमृत सिंह, रुचि, श्रीति यादव, अवनीश, हर्षित, गौरव यादव, श्रुति मिश्रा, अक्श सहित अन्य छात्रों ने प्रंकित से पूछा कि की कैसे रोबोट काम करता है?, कौन सी चीज रोबोट बनाने में इस्तेमाल की जाती है?, रोबोट काम नही करता है तो हमे क्या करना चाहिए?, रोबोट का भविष्य में हम और किस किस क्षेत्र में इस्तेमाल कर सकते हैं?, इन सवालों का प्रंकित ने बखूबी जवाब दिया। इस अवसर पर एक्सीलिया स्कूल के निदेशक आशीष पाठक, प्रधानाचार्य प्रियंका दुबे, शालिनी पाठक, महाप्रबंधक शेखर वार्ष्णेय, सलाहकार प्रवीण पाण्डे समेत बड़ी संख्या में शिक्षक एवं शिक्षिकाएं मौजूद रहे। धन्यवाद ज्ञापन कार्यक्रम संयोजक मयंक रंजन ने दिया।