वाराणसी। महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ के अर्थशास्त्र विभाग के पीएचडी कोर्सवर्क के 0नवागत छात्रों का शनिवार को परिचय समारोह हुआ। इसमें उन्हें शोध की रूपरेखा के अलावा इसकी मौलिकता भी बताई गई।
कार्यक्रम का शुभारंभ मां सरस्वती की प्रतिमा पर पुष्पार्चन व माल्यार्पण करके किया गया। कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि समाज कार्य विभाग के पूर्व संकायाध्यक्ष प्रो. संजय ने विद्यार्थियों को शोध की रूपरेखा के विषय में स्पष्ट रूप से समझाते हुए कहा कि शोध मौलिकता के आधार पर होना चाहिए। एक अच्छा शोधार्थी वही है जो शोध परिणामों का मौलिक रूप में चिंतन करे व उचित प्रकार से शोध प्रश्नावली का निर्माण करें। उन्होंने यह भी बताया कि समसामयिक विषयों का चयन करना शोधार्थियों के लिए उपयुक्त होगा।
विशिष्ट अतिथि मुख्य लाइब्रेरियन प्रो. शिवराम वर्मा ने शोध के उद्देश्यों पर चर्चा की। साथ ही लाइब्रेरी में शोधार्थियों के लिए उपलब्ध सुविधाओं को विस्तार से बताया और विद्यार्थियों को लाइब्रेरी हेतु आने के लिए प्रेरित किया। विशिष्ट अतिथि छात्र कल्याण संकायाध्यक्ष डॉ. बंशीधर पांडे ने छात्र कल्याण से संबंधित सभी प्रकार की सूचनाओं को विद्यार्थियों के साथ साझा किया तथा साथ ही साथ शोध किस प्रकार से गुणवत्तापूर्ण हो सकता है इस पर अपने विचार रखे। विशिष्ट अतिथि लखनऊ विश्वविद्यालय की डॉ. अल्पना लाल ने नई शिक्षा नीति में शोध को नई दिशा किस प्रकार से मिल सकती है इस पर अपने विचार रखे तथा शोधार्थियों को नई शिक्षा नीति के अनुरूप नए विषयों को चयन कर कार्य करने हेतु प्रेरित किया। अतिथियों का स्वागत व विषय प्रवर्तन विभागाध्यक्ष डॉ. राजीव कुमार ने किया। इस दौरान उन्होंने गुणवत्ता पूर्ण शोध की आवश्यकता पर प्रकाश डालते हुए इसकी प्रक्रिया को स्पष्ट किया। कार्यक्रम में नवागत विद्यार्थियों का परिचय भी प्राप्त किया गया।
समस्त कार्यक्रम का संयोजन व संचालन डॉ. अंकिता गुप्ता ने किया व धन्यवाद ज्ञापन डॉ. उर्जस्विता सिंह ने किया। उक्त कार्यक्रम में विभाग के समस्त अध्यापक डॉ. पारसनाथ मौर्य, प्रो. राजेश पाल, डॉ. शशि बाला, डॉ. अमित कुमार सिंह, डॉ. राकेश कुमार तिवारी, डॉ. पारिजात सौरभ व डॉ. गंगाधर तथा पीएचडी विद्यार्थी गोपाल सत्येंद्र अंजू, गौरव, विजय, संजय राकेश, दीपा आदि उपस्थित रहे।