वाराणसी। महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ के मनोविज्ञान विभाग में शनिवार को प्रो. रश्मि सिंह की अध्यक्षता में सड़क सुरक्षा शपथ, जागरूकता रैली एवं मानव शृंखला कार्यक्रम का आयोजन किया गया । प्रातः जागरूकता रैली का शुभारंभ छात्र कल्याण संकायाध्यक्ष प्रो. केके सिंह ने किया। मनोविज्ञान विभाग के छात्र-छात्राओं ने उत्साह पूर्वक नारे लगाते हुए गेट नंबर 2 से चलकर मानविकी संकाय में प्रवेश कर फातमान रोड के राहगीरों एवं मोहल्ले वासियों को सड़क सुरक्षा नियमों से अवगत करवाते हुए एवं यातायात के नियमों के पालन एवं हेलमेट पहनने हेतु जागरूक करते हुए मलदहिया गेट से पुनः विश्वविद्यालय में प्रवेश किया ।
प्रशासनिक भवन से केंद्रीय पुस्तकालय तक मानव शृंखला का निर्माण कर कार्यक्रम में पूरी सहभागिता दर्शाया। अंत में मनोविज्ञान विभाग पहुंचकर छात्र छात्राओं समेत सभी अध्यापकगणों ने सड़क सुरक्षा शपथ ग्रहण की।
कार्यक्रम के दूसरे चरण में छात्र-छात्राओं द्वारा निर्मित स्लोगन का मूल्यांकन किया गया जिसमें कीर्ति एवं शगुन द्वारा निर्मित स्लोगन पोस्टर को प्रथम पुरस्कार मोहम्मद अहसान व सपना को द्वितीय पुरस्कार तथा श्रद्धा व निधि विश्वकर्मा को तृतीय पुरस्कार प्राप्त हुआ। इसी के साथ विभाग के स्मार्ट क्लास में ऑनलाइन व्याख्यान के अंतर्गत नई दिल्ली की रोड सेफ्टी एंबेसडर डॉ. दीपाली श्रीवास्तव ने छात्र -छात्राओं को अपील किया की दोपहिया वाहन चालक के साथ-साथ सवारी हेलमेट जरूर पहने गाड़ी चलाते समय सीट बेल्ट का प्रयोग एवं समस्त यातायात के नियमों का पालन करें स्वयं के साथ दूसरों को भी सुरक्षित रखें।
कार्यक्रम के तीसरे चरण में संविधान दिवस के उपलक्ष्य में ‘भारत लोकतंत्र की जननी,’ विषयक एक दिवसीय संगोष्ठी संगोष्ठी का आयोजन किया गया जिसमें समाज विज्ञान संकायाध्यक्ष प्रो. बृजेश कुमार सिंह ने अपने वक्तव्य में संविधान के निर्माण, हमारे मौलिक अधिकार, मौलिक कर्तव्य , स्वतंत्र न्यायपालिका, कार्यपालिका के कार्य क्षेत्रों के साथ-साथ भारतीय लोकतंत्र की विविधता, विशालता एवं विशेषताओं पर प्रकाश डालते हुए इसे बनाए रखने हेतु सबके महत्वपूर्ण योगदान की ओर ध्यान आकृष्ट करवाया।
अतिथियों का स्वागत विभागाध्यक्ष प्रो. रश्मि सिंह, विषय प्रवर्तन प्रो. शेफाली ठकराल एवं धन्यवाद ज्ञापन डॉ. प्रतिभा सिंह ने किया। इस कार्यक्रम को सफल बनाने में डॉ. कंचन, डॉ दीपमाला, डॉ. पूर्णिमा, डॉ.पूनम, डॉ. रश्मि रानी डॉ. संतोष समेत शगुन, कामिनी, अमित गिरी, राजेश, सरोज, निधि, कीर्ति, जानवी, अमित आदि की महत्वपूर्ण भूमिका रही।