बर्मिंघम। राष्ट्रमंडल खेलों में पहली बार शामिल महिला क्रिकेट का पहला स्वर्ण पदक कौन जीतेगा, यह कुछ घंटों में स्पष्ट हो जाएगा। इतना तो तय है कि यह भारत या ऑस्ट्रेलिया में से किसी एक के पास होगा। ये दोनों टीमें अबतक शानदार प्रदर्शन करते हुए फाइनल तक पहुंची हैं। यह भी दिलचस्प है कि ये दोनों ही टीमें लीग चरण में एक ही ग्रुप में थीं।
भारतीय महिला क्रिकेट टीम ग्रुप चरण में अपना पहला मैच ऑस्ट्रेलिया के हाथों हार गई थी। हालांकि एक समय वह मैच जीतने की स्थिति में थी, लेकिन रेणुका सिंह को छोड़कर कोई भी भारतीय गेंदबाज सटीक नहीं रहीं। उनकी गेंदों की दिशा और लंबाई अनियंत्रित होती रही। यही वजह थी कि पावर प्ले के छह ओवरों के दौरान लगभग आधी ऑस्ट्रेलियाई टीम के पैवेलियन लौट जाने के बावजूद भारत यह मैच हार गया था। रेणुका ने अपने चार ओवरों में महज 18 रन खर्च करके चार विकेट चटकाए थे। रेणुका ने इसके बाद के मैचों में भी शानदार गेंदबाजी की। हालांकि वह शनिवार को इंग्लैंड के खिलाफ काफी असफल रहीं।
भारतीय बल्लेबाजों में स्मृति मंधाना जबरदस्त फार्म में हैं। उनके अलावा शेफाली वर्मा ने हालांकि मिला-जुला प्रदर्शन किया है, लेकिन वह बड़े मैचों की जबर्दस्त खिलाड़ी के रूप में जानी जाती हैं। इन दोनों के अलावा कप्तीन हरमनप्रीत कौर, जेमिमा रोड्रिग्ज, दीपिका शर्मा, पूजा वस्त्रकार मौके पर रन बनाने में कामयाब रही हैं।
गेंदबाजी में रेणुका की अगुवाई में मेघना सिंह, दीप्ति शर्मा, स्नेह राणा, राधा यादव अच्छा प्रदर्शन कर रही हैं। इंग्लैंड के खिलाफ सेमीफाइनल मैच में शनिवार को स्नेह राणा ने जिस तरह अंतिम ओवर में 14 रन के स्कोर का बचाव किया, निश्चित रूप से उनका आत्मविश्वास बढ़ा होगा।
कुल मिलाकर यह कि रविवार को इन सभी खिलाड़ियों से एक बेहतरीन प्रदर्शन की उम्मीद है और ऐसा हो गया तो भारतीय महिला टीम के पास राष्ट्रमंडल खेलों की क्रिकेट प्रतियोगिता का गोल्ड मेडल जीतकर इतिहास रचने का सुनहरा मौका है।